शिक्षकों का कहना है कि पहले ही स्कूलों में शिक्षक संख्या की भारी कमी है, ऐसे में अतिरिक्त प्रशासनिक कार्यों में उन्हें लगाना बच्चों की पढ़ाई पर सीधा असर डालेगा।
प्रशासन ने लखनऊ के माल, मलिहाबाद और काकोरी क्षेत्र के 200 से अधिक शिक्षकों की बीएलओ ड्यूटी के लिए सूची जारी कर दी है।
इस पर शिक्षकों ने सवाल उठाया है कि जब स्कूल सुबह 8 बजे से दोपहर 2 बजे तक चलता है, तो बीएलओ का कार्य कब और कैसे किया जाएगा? उन्होंने कहा कि यदि शिक्षक ही बीएलओ कार्य में लगे रहेंगे, तो फिर छात्रों की पढ़ाई का जिम्मा कौन उठाएगा?
शिक्षकों ने मांग की है कि बीएलओ जैसे प्रशासनिक कार्यों में उनकी ड्यूटी लगाने की बजाय, शैक्षिक कार्यों पर ही ध्यान केंद्रित करने दिया जाए ताकि बच्चों की शिक्षा प्रभावित न हो।

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